जयपुर ब्यूरो रिपोर्ट।  

सचिन पायलट भाजपा की वसुंधरा राजे सरकार में हुए कथित भ्रष्टाचार और पेपरलीक मामलों को लेकर जनसंघर्ष पद यात्रा आज आखिरी पड़ाव पर है। हालांकि उनकी इस यात्रा की टाइमिंग और मुद्दे को लेकर कई आरोप लग रहे हैं। प्रदेश कांग्रेस कमेटी के सचिव रामसिंह कस्वां का दावा है कि सचिन पायलट जिन मुद्दों को लेकर यात्रा निकाल रहे हैं, ये सारे उनके थे। उन्होंने खुद पायलट को इन मुद्दों का रिकॉर्ड 2016 में सौंपा था। 

कस्वां ने दावा किया कि वसुंधरा राजे  खिलाफ खनन सहित और मुद्दों को वे ही सुप्रीम कोर्ट तक लेकर गए।  उन्होने खुद इससे सम्बंधित सारे डिटेल पायलट को बताए और उनसे अच्छे वकीलों के जरिए मामले की पैरवी करवाने को कहा।  कस्वां ने बताया कि पायलट ने उनसे कहा कि उनके राजे से अच्छे सम्बन्ध हैं और राजे के खिलाफ मामले उठाते ही उन पर कई तरह के दबाव आ जाएंगे।  कस्वां का मानना है कि आज पायलट अपनी ही सरकार के खिलाफ माहौल बना रहे हैं।  

कस्वां ने पायलट पर भाजपा और प्रशांत किशोर के इशारों पर काम करने का आरोप लगाते हुए कहा कि पूरे प्रकरण की टाइमिंग देखिए।  जब कर्नाटक चुनाव में कांग्रेस ने भ्रष्टाचार को मुद्दा बनाया और अच्छा माहौल बनना शुरू गया, तो पायलट ने अनशन शुरू किया। जब वहां मतदान था, तो उन्होंने यहां यात्रा की। पायलट ने कांग्रेस के कर्नाटक में बनाए माहौल कमजोर करने की कोशिश की, जिससे भाजपा को फायदा हो सके। पायलट के एक्शन और कर्नाटक चुनाव की तारीखें देखेंगे, तो प्लानिंग का अंदाजा हो जाएगा।

रामसिंह कस्वां के आरोपों पर सचिन पायलट ने कहा कि अभी तो आरोपों की शुरुआत हुई है। मुझ पर अभी तो कई निचले दर्जे के आरोप लगाए जाएंगे। मेरे साथियों और नजदीकियों के ऊपर भी कई घटिया स्तर के आरोप लगेंगे। मेरे परिवार की राजनीति को आप सब जानते हैं, मेरे विरोधी भी हमारे पर कोई उंगली नहीं उठा सकते। मैने हमेशा राजनीतिक शिष्टाचार का पालन किया है।