जयपुर ब्यूरो रिपोर्ट।
राजस्थान में चल रहे सियासी संकट के बीच अब विधायक और मंत्रियों को अपनी सदस्यता खोने का डर भी सताने लगा है। इसकी एक बड़ी वजह यह भी है कि बड़ी संख्या में कांग्रेस विधायकों ने अपनी सदस्यता से इस्तीफा विधानसभा अध्यक्ष को सौंप दिया है। मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास ने मजाक में ही सही, लेकिन इस बात को स्वीकारा किया कि अब गेंद सीपी जोशी के पाले में।दरअसल प्रदेश की सियासी घटनाक्रम के बीच मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास मीडिया से रूबरू हुए। इस दौरान उन्होंने पार्टी आलाकमान को सर्वोपरि बताते हुए कहा कि जो भी कुछ हुआ है वह सब कांग्रेस के परिवार की बात है। परिवार में सब ने अपनी बात रखी है। कुछ चीजों को लेकर नाराजगी थी। उसको अवगत कराया है और उसी नाराजगी की बीच विधायकों ने गुस्से में आकर अपना इस्तीफा विधानसभा अध्यक्ष सीपी जोशी को सौंपा है।खाचरियावास ने कहा कि अब गेंद जोशी के पाले में है। जोश-जोश में हम विधायकों ने इस्तीफा दिया है, लेकिन अब सब कुछ सीपी जोशी के हाथ में है। खाचरियावास ने कहा कि जब हम इस्तीफा दे रहे थे तब उन्होंने कहा था कि तुम आ गए, सोंच लो अभी तो वक्त है। लेकिन हम नहीं माने।खाचरियावास ने कहा कि वह तो साइकोलॉजी के प्रोफेसर हैं। जैसे विधानसभा में बीजेपी और कांग्रेस वालों को समझाते हैं, वैसे हमें वहां पर भी धमकाया, प्यार से समझाया और कहा कि बाद में कुछ नहीं होगा। जिन्होंने इस्तीफे दिए वो पत्र उनके पास तिजोरी में बंद हैं। जब चाहेंगे तब स्वीकार कर लेंगे। अब वह हमेशा के लिए उनके पास बंद हैं। खाचरियावास ने कहा कि वो जब चाहेंगे सबका इलाज कर देंगे। प्रताप सिंह खाचरियावास ने भले ही यह बयान मजाकिया अंदाज में कहा हो, लेकिन उनके इस बयान में कहीं ना कहीं विधायकों में जो डर है वह दिख रहा था। क्योंकि जिस तरह से विधायकों के इस्तीफे के बाद आलाकमान ने नाराजगी जताई है। उसके बाद अब विधायकों को यह भी डर लग रहा है कि कहीं ऐसा नहीं हो कि आलाकमान कोई बड़ा कदम उठा ले। प्रताप सिंह ने इस बात का अंदेशा भी जताया कि सीपी जोशी अगर हमारा इस्तीफा स्वीकार कर लेते हैं तो हम 1 मिनट में सब कुछ खो देंगे।